लॉकडाउन में पड़ोसन भाभी की चूत का मजा

अविनाश गोलू

28-04-2022

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लॉकडाउन सेक्स कहानी में पढ़ें कि मैंने पड़ोस की भाभी को उनके कमरे में बेड पर साड़ी उठाकर चूत सहलाते देखा तो मैं उस भाभी को चोदने के जुगाड़ में लग गया.


नमस्कार दोस्तो, मेरा नाम रुद्र प्रताप सिंह है. मेरी उम्र 20 साल है और मेरे लंड का साइज 7 इंच है.


ये लॉकडाउन सेक्स कहानी कुछ दिन पहले की है. मैं लॉकडाउन के समय अपने कॉलेज में था. लॉकडाउन लगने की वजह से मैं घर नहीं आ पाया.


मेरे रूम के बगल में एक भाभी रहती थीं. उनका फिगर 36-32-38 का रहा होगा. भाभी का फिगर ऐसा था कि मेरा रूम पार्टनर भी भाभी का दीवाना था.


भैया जी सऊदी में रहते थे. उन दिनों भाभी अकेली थीं. उनको देख कर मैं अक्सर मुट्ठ मार दिया करता था.


एक दिन मैं अपने रूम से निकल कर छत पर जा रहा था. तभी मैंने देखा कि भाभी का रूम खुला था.


मैंने तुरंत अन्दर झांक कर देखा, भाभी लेटी हुई थीं. उनका पल्लू ऊपर से हटा था और उनके मस्त बड़े बड़े चूचे ब्लाउज फाड़ कर बाहर आना चाहते थे. भाभी खुद अपने हाथ से अपने दूध सहला रही थीं.


कुछ देर बाद उन्होंने अपने पैर घुटनों से मोड़ लिए जिससे मुझे भाभी के चूचे दिखने बंद हो गए. मैं कुछ मायूस सा हो गया.


मगर तभी मुझे भाभी की वो हरकत दिखाई दी जिसने मेरे लौड़े में आग लगा दी.


भाभी ने अपने पेटीकोट को साड़ी समेत ऊपर कर लिया और मुझे उनकी काले रंग की पैंटी दिखाई देने लगी. वो अपने हाथ से अपनी पैंटी को सहलाने लगी.


मैंने भाभी की हरकत को देखा और खुद को किसी तरह से कंट्रोल किया. छत पर टॉयलेट में जाकर तुरंत मुट्ठ मारी और खुद को ठंडा कर लिया.


भाभी से मेरी बात होती रहती थीं.


एक दिन भाभी ने अपना मोबाइल ठीक करने को दिया तो मैंने सोचा भाभी की गूगल की हिस्ट्री चैक की जाए.


मैंने देखा भाभी ने www.freesexkahani.com पर ढेर सारी कहानी पढ़ी हुई हैं और बहुत सारी सेक्स की वीडियो भी देखी हैं.


मैंने उसी दिन सोच लिया कि अब तो भाभी को चोदना ही है. उसी दिन से मैं योजना बनाने लगा.


एक दिन मैं अकेला था. मेरा रूम पार्टनर अपने गांव निकल गया था. शाम तक उसे वापस आना था. पर लॉकडाउन में किस तरह से वो वापस आता, ये बड़ी दिक्कत थी.


उसी शाम को भाभी मेरे पास आईं और बोलीं- आज तुम अकेले हो क्या? मैंने कहा- हां भाभी.


उन्होंने कहा- तो खाना कैसे बनाओगे? मैंने कहा- देखते हैं, अभी का तो हो गया, हो सकता है शाम तक मेरा दोस्त आ जाए, तो बना लूंगा.


भाभी बोलीं- अगर वो नहीं आए और प्रॉब्लम हो, तो मैं बना दूं? मैंने झट से हां कह दी- अरे वाह भाभी … नेकी और पूछ पूछ?


भाभी हंस दीं और उन्होंने मुझे शाम का खाना खाने आने के लिए कह दिया.


शाम को मैं भाभी के रूम में गया. वो किचन में खाना बना रही थीं.


मैं फोन में गेम खेलने लगा.


कुछ देर बाद हम दोनों ने साथ में खाना खाया. मैंने भाभी से कहा- भाभी, कोल्डड्रिंक पियेंगी?


भाभी जी ने हां कर दी. मैं कोल्डड्रिंक ले आया और उसमें एक जोश बढ़ाने वाली गोली मिला कर भाभी को दे दी.


कुछ देर बाद भाभी का मूड बनने लगा था. मैंने उनकी आंखों में वासना का खुमार चढ़ता देखा और झट से भाभी के पास आकर उनके बगल बैठ गया.


मैंने भाभी से कहा- भाभी, मैं बहुत अकेला हूं, कोई लड़की पटवा दो. वो बोलीं- मैं कहां से पटवा दूं?


मैंने कहा- तो आप ही पट जाओ. भाभी मेरा मुँह देखने लगीं, लेकिन मूड उनका भी बन रहा था तो उन्होंने कहा- ठीक है. लो समझो मैं पट गई.


मैंने कहा- मैं कैसे मान लूं कि अप पट गई हो? उन्होंने कहा- तुम जो बोलो, मैं कर दूंगी. जिससे तुम्हें विश्वास हो जाए.


मैंने कहा- मुझे आपको किस करना है. वो तुरंत किस करने लगीं.


मैंने भी भाभी को किस किया और कुछ देर के बाद रुक गया. भाभी की आंखों में बेहद चुदास दिख रही थी और उनका पल्लू एक तरफ ढलका हुआ था. उनके तने हुए चूचे मेरा लंड खड़ा कर रहे थे.


कुछ देर तक भाभी के मम्मे घूरने के बाद मैंने कहा- भाभी, मुझे आपकी चूची भी पीना है.


वो मना करने लगीं लेकिन मैंने हाथ बढ़ा दिया और उनके मम्मे दबाने लगा.


वो मेरा हाथ पकड़ कर ना ना करने लगीं मगर खुद ही मेरे हाथ से अपने दूध मसलवा रही थीं.


कुछ देर बाद वो शांत हो गईं. उन्होंने कहा- अच्छा पहले दरवाजा तो बंद कर दो. मैं दरवाजा बंद करके आया.


तब तक भाभी ने अपना ब्लाउज खोल दिया. उन्होंने ब्लैक कलर की ब्रा पहनी थी. मैंने ब्रा का हुक खोल दिया जिससे उनकी दोनों चूचियां आजाद हो गईं.


मैं भाभी की दोनों चूचियों को बारी बारी से पी रहा था, मसल रहा था.


भाभी कामुक सिसकारियां ले रही थीं- आह … उफ्फ … आराम से करो न रुद्र … दर्द हो रहा है.


मैं मजे से भाभी के दूध पीता रहा. धीरे धीरे मैंने भाभी की साड़ी खोल दी और उनका पेटीकोट ऊपर करके फुद्दी को सहलाने लगा.


भाभी की पैंटी गीली हो रही थी. मैंने पैंटी साइड में की और चूत में उंगली डाल दी. अब तक भाभी की चूत पूरी गर्म और गीली हो चुकी थी.


मैंने भाभी को उठाया और उनका पेटीकोट निकाल दिया. अब वो सिर्फ पैंटी में थीं.


उन्होंने भी मेरे सारे कपड़े निकाल दिए. अब वो अपने हाथ में लेकर मेरा लंड सहला रही थीं.


मैंने कहा- भाभी इसे आपके मुँह में देना है. पहले तो भाभी मना करने लगीं, बोलीं- नहीं, मैं लंड नहीं चूसूंगी.


पर मैंने बहुत रिक्वेस्ट की, तो वो मान गईं. मैं खड़ा हो गया, वो घुटनों के बल बैठ कर मेरा लंड चूसने लगीं.


फिर मैं उनके मुँह को ही चुत समझ कर चोदने लगा; लंड गले तक जाने लगा. इससे उनको उल्टी आने लगीं.


भाभी गाली देती हुई बोलीं- साले आराम से कर … रात भर मैं तेरी रंडी ही हूं. ये सुन कर मुझे थोड़ा मजा आने लगा कि भाभी तो रात भर के लिए रेडी हो गई है.


मैं आराम से लंड अन्दर बाहर करने लगा. मैंने मुँह को ही चोद कर सारा पानी निकाल दिया और भाभी को पिला दिया.


फिर मैंने भाभी को बेड पर लिटाया और उनकी चूत पर ऐसे टूट पड़ा जैसे कोई भूखा भिखारी मलाई के दौने पर टूट पड़ता है.


मैंने भाभी की चूत में अपनी पूरी जीभ डाल कर चुत को चाटना शुरू कर दिया; साथ ही नीचे से उंगली भी डाल दी. भाभी मादक सिसकारियां लेने लगीं- उई मां … और तेज चाटो उफ्फ … साले कबसे तुझे अपनी जवानी दिखा रही थी आह भोसड़ी के … आह … चाट ले मेरी चुत को उम्म्म … कम ऑन फक मी आह …


मैंने भाभी के मुँह से ये सुना तो अपना सर पटकने लगा कि ये तो पहले से ही चुदने को मरी जा रही थीं. मैं अब मस्ती से भाभी की चुत चाट रहा था.


फिर कुछ देर की चूत चटाई के बाद मैं उठ गया. मेरा 7 इंच का लंड चुदाई के लिए तैयार था.


मैंने भाभी की कमर के नीचे तकिया लगाया, जिससे उनकी चूत थोड़ा खुल गई. मैंने लंड चुत की फांकों में टिकाया और थोड़ा सा धक्का लगा दिया जिससे 3 इंच लंड चूत में घुस गया.


काफी दिन से भाभी चुदी नहीं थीं, जिससे उनकी चूत एकदम टाइट थी. लंड अन्दर लेते ही भाभी की सिसकारी निकल गई.


फिर मैंने एक जोरदार धक्का लगा दिया और भाभी की चूत में पूरा लंड पेल दिया. इससे भाभी चिल्लाने लगीं- उई मां … मर गई साले मादरचोद आराम से चोद भोसड़ी के.


भाभी के मुँह से गाली सुनने के बाद मुझे गुस्सा आ गया. मैंने भाभी का गला पकड़ा और कहा- साली छिनाल तू साली रंडी माँ की लौड़ी, तू जो सेक्स वीडियो देखती थी न … मुझे सब पता है.


वो हंस कर मेरा मुँह देखने लगीं, लेकिन वासना की वजह से बोलीं- अभी चोद न हरामी … साले मेरी चुत की आग ठंडी कर मादरचोद. मैं लगातार धक्के देकर भाभी की चुत चोदता रहा.


वो चिल्लाती रहीं- आह आराम से चोद साले … उफ्फ … चुत फाड़ेगा क्या … उन्ह मम्मी … उम्म्म् … आह … चोद मुझे … और तेज चोद. मैं लगातार चोदता जा रहा था.


तेज स्पीड की वजह से भाभी की चूचियां हिल रही थीं. दस मिनट चुदाई के बाद भाभी की चुत ने पानी छोड़ दिया, लेकिन मेरा लंड खड़ा था.


अब मैंने भाभी को घोड़ी बनाया और पीछे से चूत में लंड डाल कर चोदने लगा. मेरे हर धक्के के साथ भाभी चिल्ला रही थीं ‘आह … आह … उम्म्म … उफ्फ … चोदो मेरी जान …’


कोई दस मिनट की और चुदाई के बाद मैं झड़ने वाला था. मैंने बोला- भाभी पानी कहां निकालूं? भाभी बोलीं- चूत में निकाल दो … मैं दवा ले लूंगी.


मैंने उनकी चुत में पानी निकाल दिया और निढाल होकर भाभी के ऊपर लेट गया. कुछ देर बाद भाभी उठीं और जाकर मेरे लिए दूध लेकर आईं.


भाभी बोलीं- लो दूध पी लो मेरे प्यारे देवर जी, तभी तो रात भर चोद पाओगे. मैंने दूध लिया और भाभी को बेड के किनारे पर लिटा दिया.


मैं उनकी चूत के ऊपर दूध डालने लगा था और नीचे से पी रहा था. बाद में बची हुई मलाई चूत पर लगाई और चाटने लगा.


भाभी फिर से जोश में आ गईं और बोलीं- चोद दे मुझे! मैंने कहा- चोदने के लिए पहले मेरा लंड तो खड़ा करो. तभी तो चुत चुदाई हो पाएगी मेरी रसीली भाभी जी.


उन्होंने झट से मेरा लंड मुँह में ले लिया और चूसने लगी.


कुछ ही देर में मेरा लंड खड़ा हो गया. मैंने भाभी को खड़ा करके बेड के सहारे झुका दिया. मैंने उनकी गांड में लंड डाल दिया तो वो छटपटाने लगीं और भागना चाहती थीं लेकिन मेरी पकड़ मजबूत थी. भाभी भाग ही न सकीं.


वो बोली- साले गांडू, बताना था न गांड मारना है. अभी लंड निकाल, मैं तुझे लड़की की गांड मारना सिखाती हूँ.


मैंने लंड निकाल लिया. भाभी ने तेल डालने को कहा. मैंने थोड़ा सा तेल गांड में डाला और लंड चुपड़ लिया. अब मैंने फिर से लंड गांड में डाल दिया और उन्हें चोदने लगा.


भाभी भी गांड हिला कर लंड ले रही थीं और ‘आह … आह … फाड़ दे मेरी गांड … उफ्फ … उई मां …’ चिल्ला रही थीं.


कुछ देर भाभी की गांड मारने के बाद मैंने भाभी को लिटा दिया और पीछे से एक टांग ऊपर करके चूत में लंड डाल दिया. मैं भाभी की चुत चोदने लगा.


कुछ देर बाद मेरा और भाभी दोनों का पानी निकल गया और मैं वैसे ही भाभी की चूत में लंड डाल कर सो गया.


सुबह 5 बजे जब मेरी आंख खुली तो मैंने फिर से भाभी की चूत सहलाना शुरू कर दी.


इससे भाभी जाग गईं.


अब मैं भाभी को बाथरूम में ले गया. वहाँ पर भी मैंने उन्हें चोदा. फिर नहा कर हम दोनों वापस कमरे में आ गए.


कुछ देर बाद मैं अपने रूम में चला गया.


तब से मैं दिन भर अपने रूम पर और रात भर भाभी के रूम में रहता हूं.


आप सबको मेरी लॉकडाउन सेक्स कहानी कैसी लगी, कृपया मेरी ईमेल आईडी पर जरूर बताएं. [email protected] धन्यवाद.


Bhabhi Sex

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