मस्त माल खाला की प्यासी चूत चोद दी

सलमान हसरत खान

23-06-2023

17,180

मस्त मौसी Xxx कहानी में पढ़ें कि मेरी अम्मी की बहन यानि मेरी खाला हमारे घर में ही पली बढ़ी, उनकी शादी हुई. लेकिन उनकी जवानी को देखकर मैं मुठ मारा करता था. मुझे खाला की चूत कैसे मिली?


नमस्ते दोस्तो, आप सभी दर्शकों को मेरा सादर प्रणाम. मेरा नाम सलमान खान है और मैं राजस्थान के टोंक जिले का निवासी हूँ. मेरे लंड का साइज 6.5 इंच है, जो किसी भी चूत को तृप्त करने के लिए काफी है.


मैं यौवनावस्था के दौर से गुजर रहा था और चूत की भूख मुझे रोज अपना लौड़ा हिलाने पर मजबूर करती थी. रोजाना अपना हथियार हिलाकर मैं सिर्फ अपने आपको कमजोर कर रहा था.


मैंने अपने स्कूल में भी गर्लफ्रेंड बना रखी थी मगर स्कूल में चुदाई होना मुश्किल वाला काम था.


मैं रोजाना अपनी गर्लफ्रेंड को किस करता, उसके बोबे दबाता और घर आकर उस बात को याद करके लंड हिलाता.


मेरी वर्तमान जिंदगी की ये एक नियमित दिनचर्या बन गई थी. कभी कभी एक दिन में 6 या 7 बार तक हिलाता था मगर लौड़े की चूत की भूख सिर्फ उसमें घुस कर ही पूरी होती है.


अब तो शायद ऊपर वाला भी मेरी हालत देख कर मुझ पर मेहरबान हो गया और वो दिन एक कहानी की तरह मेरे जीवन में आ गया.


तो मेरी मस्त मौसी Xxx कहानी पढ़ें.


मेरी एक खाला (मौसी) थीं, जिनका नाम करीमा था. वे एक तरह से बिना बाप की संतान थीं. उनको मेरे माता पिता ने उन्हें बचपन से अपने पास ही रखकर बड़ा किया था. क्योंकि नाना के मरने के बाद नानी को स्मैक जैसे गंदे नशे की लत लग गई थी.


करीमा मौसी हमारे घर कम उम्र में आईं और यहीं रह कर अपना जीवन यापन करने लगी थीं. जब अम्मी उन्हें अपने साथ लेकर आई थीं, तब मैं उनसे चार साल छोटा था.


धीरे धीरे वक्त अपनी गति से चलता रहा और जब वो घर में एक सदस्य की तरह बन गईं. वे फुल मस्त माल बन गई थीं और मुहल्ले के लौंडे उनको देख कर आहें भरने लगे थे.


अम्मी ने एक दिन किसी लड़के को उन पर फब्ती कसते सुन लिया. उस दिन मैं, अम्मी और खाला सब एक साथ बाजार से वापस आ रहे थे. उसी वक्त खाला जरा आगे को निकल गईं और मैं अम्मी के साथ पीछे आ रहा था.


एक लौंडे ने खाला के तने हुए चूचे देख कर कह दिया होगा- हाय जालिम … इन गुब्बारों की धमक किस पर गिरने वाली है! अम्मी ने सुना तो उस लड़के को बुरा भला कहने लगीं. वो लड़का भी उधर से रफूचक्कर हो गया.


बस उसी दिन अम्मी अब्बू ने उनकी शादी करने का फैसला कर लिया और अब्बू ने आनन-फानन में टोंक में ही एक ऑटो चलाने वाले के साथ उनका रिश्ता पक्का कर दिया.


उनकी शादी हुई और वो अपने ससुराल चली गईं.


अब वो कभी कभी हमारे घर आतीं और अपने हुस्न का जलवा दिखातीं. मगर उन्हें देख कर सिर्फ मुठ मारने के अलावा मैं कुछ नहीं कर सकता था.


चूंकि वो मेरी मां की बहन थीं और मेरे परिवार में ये सब गलत समझा जाता था. मगर जिस्म की आग कोई कैसे समझे.


मैं अपने दिल को समझाता रहा और मुठ मार कर काम चलाता रहा.


एक दिन मैं किसी ऑफिशियल काम से टोंक गया था क्योंकि टोंक हमारा जिला था.


आते वक्त मैंने खाला के घर जाने का मन बनाया और मैं उनके घर चला गया.


उनके घर जाते ही मैंने दरवाजा खटखटाया तो कोई आवाज नहीं आई. फिर मैंने थोड़ा धक्का दिया तो गेट खुल गया और मैं सीधे कमरे में चला गया. खाला शायद इस बात से अनजान थीं कि कोई आया है क्योंकि वे बाथरूम में नहा रही थीं.


नहाने के बाद वो तौलिया लपेट कर बाहर आ गईं और सीधा कमरे में आकर उन्होंने बिना कुछ देखे अपना तौलिया गिरा दिया. मगर जब उन्होंने मुझे देखा तो चौंक गईं और जल्दी से तौलिया उठा कर दूसरे कमरे में चली गईं.


वापस आते ही वो बोलीं- सलमान, तुम कब आए? वो मेरी तरफ अजीब नज़रों से देखने लगीं.


मैं- खाला, मैं बस अभी ही आया. मैं आपको आवाज दे रहा था मगर किसी ने जवाब नहीं दिया तो कमरे में आकर बैठ गया. खाला- मगर जब तुम आए और सब देख लिया!


मैंने नाटक करते हुए कहा- क्या देख लिया खाला? तो मौसी सोचने लगीं कि शायद सलमान अभी तक छोटा है और वो कुछ नहीं जानता.


उन्होंने कुछ सोच कर अजीब अंदाज में कहा- सलमान, तुमने मेरा शरीर देख लिया. अब तुम भी अपना शरीर मुझे दिखाओ वरना तुम किसी से भी कह दोगे कि मैंने करीमा को नंगी देखा है.


मैं- ये क्या कह रही हो खाला … मैं आपके सामने नंगा कैसे? खाला- अगर तुम नंगे नहीं हुए तो मुझे डर रहेगा कि तुम किसी से कह दोगे मगर तुम्हें देख लूंगी, तो मैं भी तुम्हारे लिए कहूंगी कि मैं भी तुम्हें नंगा देखा था.


ये सब मेरे लिए थोड़ा समझ से बाहर था. मगर थोड़ा डर भी था क्योंकि मौसी को नंगा होकर दिखाया, तो डर था कि वो मां से कुछ न कह दें.


मैं- मौसी, ठीक है, मगर मैं नंगा होऊंगा ये बात किसी से मत कहना! खाला- अरे डरो मत और जल्दी से अपनी पैंट उतारो.


फिर धीरे से बोलीं कि मैं भी तो देखूँ कि तुम्हारा कैसा है! मैंने पूछा- क्या कहा मौसी? खाला- कुछ नहीं, तुम बस उतारो जल्दी से.


जैसे ही मैंने पैंट खोली. मैंने खाला की आंखों में एक अलग नशा देखा और उन्होंने नशीली आंखों से कहा- सलमान चड्डी तो निकालो! तो मैंने कहा- मौसी शर्म आ रही है.


फिर वो मेरे पास आईं और चड्डी को पकड़ कर जैसे ही उन्होंने खींचा, तो समझो बवाल हो गया. उनके हाथ के स्पर्श से बदन में आग लग गई और लंड पर मानो तूफान आ गया, लंड झटके से खड़ा हो गया.


खाला- अरे यार तेरा कितना बड़ा है … मैंने ऐसा कभी नहीं देखा! मेरा तो समझो बोल ही बंद हो गया था.


वे धीरे से लंड को पकड़ कर सहलाने लगीं. मुझे भी एक अजीब सा नशा चढ़ने लगा और मैंने भी उनके बोबे पकड़ कर दबा दिए.


बोबे दबाते ही वो नशीली आंखों से मुझे देखने लगीं और बोलीं- सलमान, क्या तुम जन्नत का मजा लेना चाहोगे?


मैं भी अभी हवस से भरा था, तो मेरे जिस्म में आग लगी थी और चूत की भूख दिमाग पर हावी थी. मैंने कहा- खाला जन्नत का मजा कैसे … मैं समझा नहीं?


मेरी बात सुनकर उन्होंने देर न करते हुए मेरे लबों को चूमना शुरू कर दिया. ये सब मेरे लिए किसी जन्नत से कम नहीं था; बहुत ही अच्छा लग रहा था.


मैं धीरे धीरे हवस के घेरे में डूबता चला गया और मैंने एक एक कर उनके बदन से कपड़ों को हटाना शुरू कर दिया. कुछ ही पलों में वो मेरे सामने अपनी नंगी नशीली चूत खोले खड़ी थीं.


मैंने आज पहली बार अपनी खाला का नंगा जिस्म सामने देखा था. उनके फिगर का साइज 36-30-38 का था. वे किसी अप्सरा के संगमरमरी बदन की तरह लग रही थीं, एकदम कागजी गोरी चमड़ी, जिसको हाथ लगाते ही मानो खून छलक पड़ेगा. मेरे सर पर वासना हावी थी और हवस का नशा आसमान छू रहा था.


हम दोनों सिर्फ एक दूसरे में खोए थे.


मैंने धीरे से अपना हाथ मौसी की चूत पर रखा, वो पानी से गीली थी और भट्टी की तरह तप रही थी.


मैंने अपनी एक उंगली उनकी चूत में डाली तो उनकी एक मीठी सी आह निकली. मुझे बहुत मजा आया और मैं उसे आगे पीछे करने लगा. इससे वो मदमस्त होने लगीं और कामुक सिसकारियां लेने लगीं.


खाला- सलमान बुझा दो आज मेरे इस बदन की प्यास … आह चोद दो मुझे अपने इस कड़क लंड से. वे लंड लेने के लिए पागल हो रही थी मगर मेरे लिए ये पहली बार था तो मैं चुदाई से अनजान था. तब भी मैंने ब्लू-फिल्में देख कर चुदाई देखी थी.


मैं बस मौसी की चूत में उंगली करता रहा. थोड़ी देर बाद मेरे गाल पर एक चांटा और मैं नशे से बाहर आ गया.


करीमा खाला- अबे चोदू … क्या उंगली से गांड मारेगा मेरी … भोसड़ा के लंड पेल मेरी चूत में … और जल्दी से खुश कर दे.


यह सुनकर मैं भी पागल हो गया और उन्हें लिटा कर लंड को चूत के मुँह पर सैट कर धक्का देने लगा. मुझे उनकी चूत थोड़ी टाइट लगी.


मैंने कहा- खाला क्या खालू का लंड छोटा है … या वो तुम्हें चोदते नहीं हैं. वो गुस्से में बोली- वो भोसड़ी का क्या मेरी आग बुझाएगा … उसके पास तुम्हारे जैसा लंड नहीं है, सिर्फ एक छोटी सी लुल्ली है. तुम बस जल्दी से चोद दो मुझे.


मैंने थोड़ी कोशिश करके अपना लंड खाला की चूत में घुसा दिया.


लंड जैसे ही चूत में गया, खाला चिल्लाने लगीं और कराहती हुई बोलीं- आह सलमान फट गई मेरी … आह छोड़ दे मुझे … जल्दी से निकाल अपना लंड … इससे तो मेरी चूत के चिथड़े चिथड़े उड़ जाएंगे. मुझे नहीं चुदाना तुझसे.


मैं भी अब पूरे नशे में था. मैं बोला- बहन की लौड़ी पहले तो कह रही थी कि चूत की आग बुझा … और अब जब लंड घुस गया है … तो अब भागना चाहती है. आज तो तेरी चूत का भोसड़ा बना ही दूंगा और तेरी चूत का पानी पियूंगा.


मैं लगातार उन्हें चोदता रहा और वो चिल्लाती रहीं. मगर मेरा लावा भी कहां जल्दी छूटने वाला था.


मैंने लंड निकाला और खाला से घोड़ी बनने को कहा. वो लड़खड़ाती हुई घोड़ी बन गईं.


मैंने पीछे से उसकी चूत को चोदना शुरू किया. चूत रस छोड़ चुकी थी तो फच फचा फ़च की आवाज से कमरा गूंजने लगा.


थोड़ी देर में मुझे ऐसा लगा कि लंड बड़े आराम से अन्दर बाहर हो रहा है. मुझे काफी चिकनाई महसूस हुई तो मैंने पूछा- खाला ये क्या हुआ? तुम्हारी चूत तो रो रही है. वे हंसकर बोलीं- बेवकूफ मेरी चूत खुश हो गई … और ये उसकी खुशी के आंसू है. तू चालू रख अपना काम!


मैं और जोर से चोदने लगा. मैं धक्के मारता हुआ थोड़ा थक गया था, तो मैंने उनकी प्यारी सी गांड को दबाते हुए कहा- जान अब तुम ऊपर आ जाओ और लंड की सवारी करो!


वो तो शायद इसी इंतजार में थीं. मेरे ऐसा कहते ही लंड पर बैठ गईं और उछलने लगीं. मस्त आलम था … चूत और लंड मिलकर बहुत खुश थे.


जब वो उछल रही थीं तो मुझे लंड में कुछ अजीब सा लगा.


मैंने कहा- खाला मुझे अजीब सा लग रहा है! तब खाला ने कहा- इसी बात का तो इंतजार था. अब तुम्हारा माल अब मेरी चूत में निकलेगा. कुछ देर उछलने के बाद लंड से ज्वालामुखी फूट गया और लंड ने पूरी चूत को अपने रस से भर दिया.


मस्त मौसी Xxx खुशी से झूम कर मेरे ऊपर गिर गईं और हांफने लगीं.


थोड़ी देर तक हम दोनों यूं ही मदहोश होकर एक दूसरे से लिपटे रहे. बाद में जब होश आया तो मैं उनके मोटे बोबों के साथ खेलने लगा.


मौसी ने कहा- इतनी देर चोद कर भी मन नहीं भरा क्या … जो वापिस शुरू हो गया? मैंने कहा- तुम चीज ही इतनी मस्त हो जान कि तुम्हारी चूत में अपना लंड फिट किए रहना चाहता हूँ और तुम्हारे दूध को दिन भर पीना चाहता हूँ.


वो हंसने लगीं और बोलीं- तुम जब चाहे आ जाना और अपने लंड की प्यास बुझा कर चले जाना. मगर मैं अभी एक बार में कहां मानने वाला था.


थोड़ी देर में फिर से उनकी चूत को चोदने लगा.


उस दिन मैंने मौसी से तीन बार सेक्स का मजा लिया. उनकी चूत को भी आज ही सही मायने में तृप्ति मिली थी. वे खुश होकर हंसने लगी थीं.


दोस्तो, आपको कैसी लगी मेरी मस्त मौसी Xxx कहानी, प्लीज कमेंट करके बताएं या मेल करें. [email protected]


Family Sex Stories

ऐसी ही कुछ और कहानियाँ