मेरी मम्मी को स्पोर्ट्स कोच ने चोद दिया

कुलदीप 1033

12-06-2022

353,802

माय सेक्सी मॉम Xxx स्टोरी में पढ़ें कि मेरी मॉम विधवा हैं. पर वो गैर मर्दों से मजा लेती हैं. मुझे स्कूल की वॉलीबॉल टीम से निकाला तो मेरी मॉम ने कोच से बात की.


हाय दोस्तो, मैं कुलदीप, उम्र 19 साल, गोवा से हूं। यह मेरी पहली कहानी है मेरी सेक्सी मॉम Xxx स्टोरी!


घर में मैं और मेरी मम्मी ही हैं। उनका नाम अनीता है।


पापा का देहांत होने के कारण सारा बोझ मम्मी के सर पर आ गया था।


मम्मी ने एक योग अकादमी में योग सिखाना शुरू कर दिया था। घर में बहुत तंगी थी तो मुझ पर भी बहुत दबाव था।


मेरी मम्मी की उम्र 40, रंग गोरा और हाईट 5.6 इंच है। बेटा होने के नाते मैंने कभी मम्मी को उस नज़र से तो नहीं देखा परंतु आप सबके लिए बता दूं कि मम्मी की चूचियों का साइज़ 36 है, कमर 30 है और भरी हुई गांड 40 की है। इसीलिए मम्मी 30 साल की माल औरत लगती हैं।


मैं एक नेशनल वॉलीबॉल खिलाड़ी हूं जिसके पीछे मेरी मम्मी का बहुत बड़ा हाथ है।


वो योगा टीचर हैं। उन्होंने अपने आपको फिट रखा हुआ है, इसी कारण मेरे आस-पड़ोस का हर नौजवान मम्मी की बड़ी गान्ड को चोदने का सपना देखता रहता है।


मम्मी ज्यादातर जींस या लेगिंग्स ही पहनती हैं, साड़ी और सूट-सलवार तो कभी कभी ही चलता है।


उन्होंने पापा के गुजर जाने के बाद शादी तो नहीं कि परंतु उनके संबंध 4 या 5 लोगों से ज़रूर रहे हैं। इनमें 4 मेरे से उम्र में थोड़े बड़े थे।


मम्मी की उम्र का एक आदमी जो अकादमी का मालिक भी है, उसके साथ मम्मी के संबंध अभी भी हैं। वो अंकल मम्मी को छोड़ने भी आते हैं और कभी कभी लेने भी आते हैं।


मम्मी कभी-कभी उनके साथ पार्टियों में भी जाती है। मम्मी को कई बार अंकल ने हमारे घर पर ही चोदा है और मैंने उनकी चुदाई अपनी आंखों से देखी है।


मुझे बुरा तो लगता था परंतु मम्मी की खुशी इसी में ही थी तो कुछ नहीं कर पाता था।


आज जो कहानी मैं बताने जा रहा हूं ये कहानी दो साल पहले की है जब मैं 19 साल का था और स्कूल में स्टेट के सिलेक्शन के लिए काफ़ी मेहनत कर रहा था। जब सिलेक्शन का वक्त आया तो मुझे मेरे कोच ने ट्रायल्स में बाहर कर दिया।


इस बात का मुझे बहुत बुरा लगा और मैं घर पर आकर रोने लगा। मॉम ने पूछा तो मैंने उनको सारी बात बताई। वो कहने लगी कि वो कोच से खुद बात करके सब सही कर देगी।


फिर सुबह होते ही मैंने और मम्मी ने नाश्ता किया और मम्मी ने अपनी जॉब से छुट्टी ले ली और कहा- बेटा आज मैं तेरे साथ स्कूल चलूंगी। मैंने भी हां कह दिया।


मैं स्कूल के लिए तैयार होने लगा तो मम्मी तैयार हो चुकी थीं। उस दिन मम्मी कुछ अलग रही थीं। उन्होंने लाल रंग की चमकदार साड़ी पहनी हुई थी जिसमें उनका जिस्म उभर कर बाहर आ रहा था।


उनके चूचे एकदम मिसाइल की तरह तने हुए थे और गांड एकदम बम लग रही थी।


हम घर से निकले और फिर थोड़ी देर बाद हम स्कूल चल दिए। स्कूल के अंदर हम घुसे ही थे कि मेरी मम्मी को सब बड़े बच्चे और पुरुष टीचर हवस भरी निगाहों से देखने लगे।


फिर हम जैसे ही ग्राउंड में कोच के पास पहुंचे तो स्पोर्ट्स वाले बच्चों और कोच की आंखें फटी की फटी रह गईं।


कोच से मैंने मम्मी का परिचय कराया तो दोनों ने अपने नाम बताए और दोनों के बीच कुछ बातें हुईं।


मेरे कोच का नाम अभिषेक था। अभिषेक की उम्र 28 साल, रंग गोरा और हाईट पूरी 6 फिट थी।


मुझे अपनी मम्मी को देखकर ऐसा लगा जैसे मेरी मम्मी को कोच पसंद आ गया हो। फिर कोच ने कहा- चलो अनिता जी, स्पोर्ट्स रूम में जाकर बात करते हैं।


फिर हम तीनों स्पोर्ट्स रूम में चल दिए। स्पोर्ट्स रूम में घुसते ही कोच ने मम्मी को कुर्सी पर बैठाया और मैं खड़ा रहा।


मम्मी और कोच आपस में बात करने लगे।


कोच ने मम्मी से कहा- आपका बेटा स्टेट लेवल तक खेलने लायक प्लेयर नहीं है इसीलिए हम इसको नहीं ले सकते। मम्मी ने कहा– अभिषेक जी, मुझे अपने बेटे से बहुत उम्मीदें हैं, देख लो कुछ हो जाए तो!


मम्मी ने थोड़ा कुर्सी पर झुक कर कोच सर को अपनी छाती के दर्शन करवा दिए जिससे कोच के चेहरे पर एक हवस भरी मुस्कान तैर गई। फिर कोच ने कहा- अनिता जी, अब मैं कुछ नहीं कर सकता, अब लिस्ट जा चुकी है। तभी मम्मी ने कहा– मैं अपने बेटे को टीम में लाने के लिए कुछ भी कर सकती हूं, कृपया करके एक मौका तो दें?


इस बात पर कोच मेरी मॉम की क्लीवेज में घूरने लगा और मॉम थोड़ा और नीचे झुक गई। मुझे समझ आ गया कि सर के इरादे कुछ ठीक नहीं लग रहे, जरूर मम्मी की चुदाई होने वाली है।


फिर मम्मी ने मुझसे कहा– बेटा तुम बाहर जाकर प्रैक्टिस करो, मैं इनसे अकेले में कुछ बातें करना चाहती हूं। मैं रूम से बाहर निकल गया।


कुछ देर तो मैं वहीं पर खड़ा रहा। मैंने सोचा कि अंदर झांक कर देखता हूं कि मम्मी अभी तक क्यों नहीं आई।


जब मैंने देखा तो दरवाजा अंदर से लॉक हो चुका था। अब तो मेरा शक पक्का हो गया था।


पीछे की ओर एक खिड़की थी। मैं चुपके से पीछे गया और खिड़की के नीचे बैठ गया।


फिर धीरे धीरे नजर उठाते हुए मैंने कमरे में अंदर झांक कर देखा। कोच ने मम्मी को टेबल पर बिठाया हुआ था और उनकी साड़ी कमर तक खुली हुई थी, उनका ब्लाउज उतर चुका था और वो नारंगी कलर की ब्रा में थी।


कोच मेरी मम्मी की चूचियों को दबाते हुए उनके होंठों को चूम रहा था और मम्मी भी उसके गले में बाहें डाले हुए उसका साथ दे रही थी। इतने में मम्मी ने अपनी ब्रा खोल दी।


मम्मी की चूचियां कोच के सामने हवा में आजाद हो गईं। मैं मम्मी की गोरी और मोटी रसीली चूचियों को देखकर हैरान रह गया। ऐसी ही हैरानी शायद कोच को भी हुई होगी।


उसने मम्मी को टेबल पर गिराया और बुरी तरह से उसकी चूचियों को भींच भींचकर पीने लगा।


मम्मी के चूचों को चूसते हुए कोच ने कहा– अनीता जी, जब से आपको देखा है तब से ही इन चूचों को चूसने के लिए दिल मचल रहा था। मम्मी बोली- मेरे बेटे को टीम में जगह दोगे तो मैं आपको स्वर्ग की सैर करवा सकती हूं।


कोच- तो करवाइये ना अनीता जी, मैं आपके लिए कुछ भी कर सकता हूं। आपके बेटे की टीम में जगह पक्की करवाना मेरे हाथ में है।


इतने में ही मम्मी ने कोच की लोअर के ऊपर से उसके लंड को पकड़ कर सहलाना शुरू कर दिया और कोच के मुंह से कामुक बातें निकलने लगीं- आह्ह … स्स … अनीता जी … आप तो बहुत रोमांटिक हैं … ऐसी लेडी तो मुझे पहली बार मिली है।


अब कोच काफी उत्तेजित हो गया और उसने मेरी मम्मी के बदन से साड़ी को बिल्कुल अलग कर दिया। जल्दी से उसने पेटीकोट उतारा और मम्मी की पैंटी के ऊपर से चूत को रगड़ने लगा। मम्मी भी सिसकारने लगी।


फिर उसने पैंटी में हाथ देकर चूत को अच्छे से रगड़ना शुरू कर दिया। अब मम्मी भी अपनी चूचियों को दबाते हुए आह्ह … स्स … आह्ह … स्स्स … करने लगी।


कोच ने मम्मी की चूत में उंगली डाल दी और वो एकदम से उचक सी गई। वो मेरी मॉम की चूत में उंगली चलाने लगा तो मम्मी बहुत गर्म हो गई। उसने कोच की लोअर नीचे खींच दी और उसे नंगा कर लिया।


जल्दी से मॉम ने उसके लंड को मुंह में भरा और तेजी से चूसने लगी।


कोच जोर जोर से सिसकारने लगा- आह्ह … स्स्स … हाय … साली रंडी … आह्ह … क्या मस्त चूसती है तू … आह्ह … खा जा मेरे लंड को रांड … स्स … हाय … चूस जा पूरा! वो दोनों हवस में जैसे पागल हो चुके थे।


फिर कोच ने मेरी मम्मी की पैंटी को उतार दिया और खुद भी नंगा हो गया। उसने मम्मी को पलटा लिया और मॉम की मोटी गांड उसके सामने थी। उसने मॉम की गांड पर चांटे लगाने शुरू किए।


कई चांटे मारने के बाद मॉम की गांड लाल हो गई। फिर उसने मम्मी की गांड में मुंह लगा दिया और उसको चाटने लगा। मॉम भी पागल होने लगी।


टेबल पर झुकी हुई मॉम की चूचियां आगे पीछे हिल रही थीं और वो आगे पीछे होते हुए अपनी गांड को कोच के मुंह पर रगड़ रही थी।


मुझे यह सब देखकर गुस्सा तो आ रहा था लेकिन अंदर ही अंदर मज़ा भी बराबर आ रहा था। मैंने मम्मी को पहले भी नंगी देखा था लेकिन इस बार और ज़्यादा मज़ा आ रहा था।


फिर कोच ने मम्मी की चूत में थूक दिया। उसने अपने लंड पर भी थूक लगा लिया।


उसने मॉम को सीधी किया और अपना लन्ड मम्मी की चूत में डाल दिया और मम्मी एकदम से सिहर सी गई।


फिर कोच ने मम्मी की दोनों टांग पकड़ कर चोदना शुरू कर दिया। कुछ देर में मॉम को भी मजा आने लगा। मम्मी की चुदाई कोच बहुत बेरहमी से कर रहा था।


अब मॉम अपनी चूत को खुद कोच के लौड़े की तरफ धकेल रही थी।


थोड़ी देर बाद कोच ने मम्मी को टेबल पर बैठा दिया और खुद भी बैठ गया। फिर उसने मम्मी को लिटा कर मम्मी की चूचियों में लन्ड फंसा कर चूचियों को चोदना शुरू किया। मॉम की मोटी चूचियों के बीच लंड अच्छे से रगड़ खा रहा था।


लन्ड मम्मी के मुंह तक टच हो रहा था। मम्मी और कोच ने फिर एक ज़ोरदार किस की।


अब मॉम कोच को लिटा कर उनके ऊपर बैठ गई और कोच ने मम्मी की चूत के बजाय गांड में लन्ड पेल दिया।


मम्मी उचक गई और फिर आराम से लंड को धीरे धीरे करके पूरा उतरवा लिया। लंड को गांड में लेकर वो आराम से चुदने लगी।


धीरे धीरे दोनों का जोश बढ़ने लगा और कोच अब तेजी से जोर लगाते हुए नीचे से Xxx मॉम की गांड में लंड को पेलने लगा।


ये सब देखकर मेरे लंड का भी बुरा हाल हो गया था।


मैं मुठ मारना चाहता था लेकिन वहां पर खतरा था। कुछ देर चोदने के बाद कोच ने मम्मी को टेबल से नीचे उतार दिया।


मम्मी को कुर्सी पर घोड़ी बना कर कोच ने उनकी चूत में लन्ड डाल दिया। मम्मी को चूत चुदवाने में बड़ा मज़ा आ रहा था।


15 मिनट चूत मारने के बाद फिर कोच ने फुर्ती से मम्मी को घुटनों पर बिठाया और मम्मी के मुंह में लन्ड डाल दिया और मुख चोदन करने लगा।


वो मॉम का सिर पकड़ कर मुंह को चोद रहा था। मम्मी को सांस नहीं आ रही थी तो मम्मी की आंखों में आंसू आने लगे।


कुछ देर मुंह चुदाई करने के बाद कोच ने मम्मी को उल्टा किया और मम्मी की गांड पर माल झाड़ दिया। अब दोनों थक चुके थे।


उनकी चुदाई खत्म होते ही मैं भी वहां से सरक लिया लेकिन मेरे लंड का बुरा हाल था। मैं सीधा टॉयलेट में गया और मुठ मारने लगा।


मेरे ख्यालों में मम्मी की चुदाई और सिसकारियां चल रही थीं।


फिर झड़ने के बाद मैं स्पोर्ट्स रूम के पास गया। अभी भी दरवाजा बंद ही था।


मैंने खिड़की से झांक कर देखा कि मम्मी कोच की गोदी में बैठी थी। मम्मी और कोच ने कपड़े पहन रखे थे।


फिर दूसरी तरफ जाकर मैंने रूम का गेट खटखटाया तो सर ने आ कर गेट खोला और मम्मी मुझे देखकर अपने कपड़े ठीक करने लगीं।


इससे पहले कि मैं कुछ कहता, मम्मी बोली- चल कुलदीप, सर से बात हो गई है। तुझे टीम में लेने के लिए सर मान गए हैं। मॉम फिर से कोच सर के पास गई और उनसे हाथ मिलाकर धन्यवाद करने लगी।


कोच ने मॉम को मेरे सामने ही गले लगा लिया। मॉम भी अच्छी तरह से चिपक कर उनसे गले मिली।


मैंने देखा कि कोच ने धीरे से मेरी सेक्सी मॉम की गांड पर हाथ फेरते हुए कहा- दर्शन करवाते रहिएगा अनीता जी! मॉम ने भी शरारती स्माइल दी और वहां से आ गई।


फिर मम्मी ने रूम से बाहर आकर अपने पुराने यार को कॉल लगाकर कहा- मिश्रा जी, जल्दी हमको लेने के लिए कुलदीप के स्कूल आ जाओ। यह कहकर मम्मी ने फोन रख दिया।


थोड़ी देर स्कूल के बाहर इंतजार करने के बाद मिश्रा जी अपनी गाड़ी लेकर आ गए।


मम्मी मिश्रा जी के साथ आगे बैठ गईं और मैं पीछे वाली सीट पर बैठ गया। हम तीनों घर पहुंच गए तो मम्मी ने मुझे बोला– बेटा तुम घर में जाकर पढ़ाई करो, मैं मिश्रा जी के साथ दोबारा हाफ डे जॉब जा रही हूं।


मैं समझ गया कि मम्मी जॉब तो जा रहीं हैं लेकिन साथ साथ मिश्राजी ने उनको चोदने का प्लान बनाए रखा होगा इसीलिए जल्दी है। मैंने मम्मी और अंकल को बाय कहा और घर में आ गया।


तो दोस्तो, मेरी सेक्सी मॉम Xxx स्टोरी कैसी लगी? ईमेल के ज़रिए अपनी राय मुझे ज़रूर दें। मेरा ईमेल आईडी है- [email protected]


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