भाभी ने यौनसुख और बच्चे के लिए सेक्स किया

लुसीफर 1

09-01-2024

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इंडियन भाभी पोर्न कहानी में मेरे पड़ोस में रहने वाली हॉट सेक्सी भाभी की चूत और गांड मारी मैंने! वे हमारे घर आती थी. एक दिन किसी काम के बहाने वे मुझे अपने घर ले गयी.


हाय, पानी टपकाती चूत वालियों को मेरा नमस्कार.


मैं पहले अपना परिचय दे रहा हूं. मेरा नाम लुसीफर है (बदला हुआ). मैं गुजरात के पालनपुर का रहने वाला हूं.


मेरी उम्र 25 साल है. अच्छी कसरत के कारण पहलवानी शरीर है जो किसी को भी अच्छे से चोद कर उसे चरम सुख दे सकता है. मेरे लंड का साइज 6.8 इंच है. मुझे पता है कि यह किसी अफ्रीकन के जितना बड़ा नहीं है, पर इसकी क्षमता बहुत देर तक चुदाई करने की है. मैं किसी भी लड़की या भाभी 30 मिनट से ज्यादा देर तक चोद सकता हूं और वह भी बिना रुके.


मेरे घर के सामने एक भाभी रहती थीं, वे बड़ी कमाल की लगती थीं. क्या बताऊं … भाभी की भरी हुई गांड और उठे हुए चूचे कितने मस्त लगते थे, यदि आप उन्हें देखेंगे तो आपको मजा आ जाएगा.


यह इंडियन भाभी पोर्न कहानी इन्हीं भाभी की है.


मैं उन्हें अक्सर छुप छुप कर देखता रहता था और मुझे ऐसा लगता था कि शायद भाभी मेरी कामुक नजरों को नहीं ताड़ पाई हैं. वह तो बाद में भाभी ने चुदते वक्त कहा था कि वे मेरी नजरों को काफी समय से ताड़ रही थीं और मेरी उन्हीं कामुक नजरों की वजह से भाभी ने मुझे खुद के लिए चुन लिया था.


दोस्तो, जब मैंने उनकी गांड मारी थी … तो क्या बताऊं कि इतना मजा तो मुझे उनकी चूत मारने भी नहीं आया था. वह सेक्स कहानी मैं बाद में लिखूंगा, पहले यह जान लेते हैं कि मैंने उनको कैसे पटाया और अपने लौड़े का शिकार बना कर चोदा.


मैं एक दिन कॉलेज से आया, तो भाभी जी मेरी मां से बातें कर रही थीं. उन्हें देख कर मेरा लंड खड़ा हो गया.


मैंने तुरंत बाथरूम में जाकर अपने लंड को हिलाया. और माल टपका कर मैं जैसे ही बाथरूम से बाहर आया, वे मुझे देख कर मुस्कराने लगीं. मैं भी मुस्कुरा दिया.


उन्होंने मेरी मां से कहा- दीदी, मुझे इनसे कुछ काम है, इसलिए मैं इन्हें अपने घर ले जा रही हूँ. मम्मी ने हां कह दी और मुझे भाभी के साथ जाने का कह दिया.


मैंने पूछा- भाभी क्या काम है? वे कहने लगीं कि बेडरूम में मेरे बेड को हिलाना है और उसमें से कुछ निकालना है.


मेरी समझ में नहीं आई कि बेड को कैसे हिलाना है और कैसे क्या निकालना है. उनकी ये गूढ़ बातें मेरे सर के ऊपर से निकल गईं और मैंने उनसे चलने के लिए हां कह दी.


मैं भाभी के साथ उनके घर चला गया.


वे आगे आगे चल रही थीं और मैं उनके पीछे पीछे उनकी गांड को मटकते हुए देखते चला जा रहा था. मैंने सोचा कि भाभी की चूत चोदने मिल जाए तो मजा ही आ जाए.


मैं उनके घर आ गया और उनकी तरफ देखने लगा. मुझे लगा कि भाभी अब मुझे कोई काम करने के लिए कहेंगी.


मगर अगले ही पल वह हुआ, जिसकी मैंने कल्पना भी न की थी. उन्होंने मुझे देखा और सीधे मेरे मुँह पर किस कर दिया.


मैं सकपका गया और उन्होंने मुझसे कहा- मुझे एक बच्चा चाहिए. तुम मुझे चोद कर मुझे एक बच्चा दे दो. मेरी समझ में ही नहीं आ रहा था कि यह क्या हुआ!


उनकी बात सुनकर मैंने पहले थोड़ी देर मना किया. मुझे लगा ये सब भाभी का नाटक है. यदि मैंने इनके साथ कुछ किया, तो ये मेरे घर वालों को बता देंगी और खामखां की प्रॉब्लम हो जाएगी.


मेरे मना करते रहने के बावजूद भी उन्होंने आगे बढ़ कर अपना हाथ मेरी टांगों के बीच किया और धीरे से मेरे सात इंच के काले लौड़े को पकड़ कर मसल दिया. मेरी आह निकल गई.


वे लगातार मेरे लंड को सहला रही थीं. तो मुझसे भी रहा नहीं गया और मैंने भी उनको किस कर दिया.


बस फिर क्या था. हम दोनों के बीच होड़ सी लग गई और हमने एक दूसरे को चूमते हुए कपड़े निकाल दिए.


भाभी बोलीं- दरवाजा लगा दो.


मैंने एकदम से होश में आते हुए दरवाजे लगाए और पलट कर भाभी को देखने लगा. वे बिस्तर पर अपने पैर फैला कर लेट गई थीं और मुझे वासना से देख रही थीं.


मुझसे निगाहें मिलते ही भाभी ने अपने होंठ गोल किए और चुंबन उछाल कर मुझे करीब आने का इशारा किया. मैं अगले ही पल उनकी दोनों टांगों के बीच में आ गया और उनकी चूत पर अपनी जीभ लगा कर चूत चाटने लगा.


मैंने दस मिनट तक भाभी की चूत चाटी क्योंकि मुझे चूत चाटना अच्छा लगता है. उसके बाद मैंने अपना लौड़ा उनके मुँह में दे दिया.


वे लंड की मोटाई देख कर डर गईं.


वे मुझसे बोलीं- मेरा पति का बहुत छोटा सा है और तुम्हारा तो उनसे दोगुने से भी बड़ा है. मैं इसे अपने अन्दर नहीं ले पाऊंगी. मैंने भाभी से कहा- यदि आपको बच्चा चाहिए तो इसे अन्दर लेना ही पड़ेगा और आपको मुझे अपनी गांड भी देनी पड़ेगी.


मुझे ये गांड मारने का चस्का मेरी गर्लफ्रेंड से लगा था. वह बहुत गांड मरवाती थी. वो सेक्स कहानी में बाद में लिखूंगा.


थोड़ी देर ना-नुकुर के बाद भाभी ने मेरे लंड को अपने मुँह में ले लिया और चूसने लगीं. उस वक्त हम दोनों बिंदास लगे हुए थे.


उनके पति के वापस आने का भी डर नहीं था. उनके पति की एक दुकान थी और वह अपनी दुकान से देर रात को वापस आता था.


थोड़ी देर बाद मैंने भाभी को चित लिटाया और पोजीशन में लेकर चोदना शुरू किया.


जैसे ही मैं भाभी की चूत में लंड डाला, तो उनकी चूत से खून आने लगा. मैं समझ गया कि इसके पति की कुल्फी पतली सी है इसीलिए भाभी की सील सही से टूटी ही नहीं है.


मेरे मोटे लंड से भाभी की आंखों में आंसू आ गए थे.


थोड़ी देर बाद वे बड़े अच्छे से लंड लेने लगी थीं. कुछ देर मिशनरी आसन में चोदने के बाद मैंने उन्हें कुतिया बनने को कहा.


उन्हें लगा कि मैं उनकी गांड मारने वाला हूँ. तो पहले वे मना करने लगीं.


बाद में वे कुतिया बन गईं और मैंने पीछे से लंड पेल कर भाभी की चुदाई चालू कर दी.


कुछ मिनट तक मैंने उन्हें ऐसे ही चोदा और बाद में फिर से पोजीशन बदलकर उनके दोनों पैर उठा कर अपने कंधों पर उठा लिए और चोदने लगा. इस तरह से चोदने के पीछे एक रीजन था कि जैसे ही मेरा वीर्य उनकी चूत में निकलेगा तो अन्दर तक चला जाएगा.


मैंने इस आसन में भाभी को दस मिनट तक रगड़ कर चोदा और अपना वीर्य डाल दिया. वे बेहद खुश थीं और मुझे जाने ही नहीं दे रही थीं.


उस दिन एक बार चोद कर मेरा मन भी नहीं भरा था. पर मुझे एक आवश्यक काम से जाना था तो उन्हें एक ही बार चोद कर मैंने वापस आ गया.


उसके बाद मैंने एक सप्ताह तक रोज उनको हचक कर चोदा और अपना बीज भाभी की कोख में बो दिया. मतलब भाभी के गर्भ धारण कर लिया था.


उसके बाद दूसरे दिन उसके पति को कहीं बाहर जाना था, दुकान का माल लाने के लिए. उस दिन भाभी रात को घर में अकेली थीं.


उन्होंने मेरी मां को बोलकर रात को मुझे सोने के लिए अपने घर बुला लिया. मैं भी चला गया.


मुझे पता था कि चूत तो मिलेगी ही पर सोचा कि आज किसी तरह से भाभी की गांड मारने भी मिल जाए तो मजा आ जाए.


इसलिए मैंने एक प्लान बनाया इंडियन भाभी पोर्न का मजा लेने के लिए! मुझे पता था कि भाभी अपनी गांड में लंड नहीं लेंगी क्योंकि इनकी गांड फट जाएगी.


मैंने उनके घर में जाकर बहुत अच्छे से चोदा. वे भी काफी थक गई थीं.


अब मैंने भाभी की गांड में उंगली करना शुरू कर दिया. वे गुस्सा होकर कमरे से बाहर चली गईं.


मैंने उनको पकड़ा और मनाया. वे किसी तरह से अपनी गांड में मेरा लंड लेने को मान गईं.


मैंने उनकी गांड को पहले अच्छे से चाटा और तेल लगा कर गांड में उंगली करके अच्छी तरीके से खोल दिया.


अब उसकी गांड लंड लेने को तैयार हो गई थी. मैंने अपने लंड को उनके मुँह में दिया और अच्छे से गीला करवा लिया.


मैं धीरे धीरे से उनकी गांड में लंड डालने लगा, पर पहली बार में तो गया ही नहीं. फिर मैंने लंड पर ज्यादा सा तेल लगाया और डाला, तो आगे वाला भाग अन्दर घुस गया.


वे चिल्लाने लगीं- आह बाहर निकाल … बाहर निकाल! पर मैंने थोड़ा जोर देकर एक और धक्का मारा. इस बार मेरा आधा लंड भाभी की गांड फाड़ कर अन्दर घुस गया था.


अब वे रोने लगीं. पर मुझे पता था कि अगर इस बार मैंने उनको छोड़ दिया, तो ये मुझे कभी अपनी गांड नहीं मारने देंगी.


मैं रुक गया और थोड़ी देर तक उनके चूचे मसलता रहा, उनको किस करने लगा.


जब भाभी का दर्द कम हुआ तो मैंने एक धक्का और लगा कर अपना पूरा सात इंच का काला लंड अन्दर डाल दिया. भाभी को तेज दर्द हुआ पर मैंने उनके मुँह को दबा दिया. क्योंकि हमारे घर आस-पास ही थे तो पड़ोसी आवाज सुन सकते थे.


फिर थोड़ी देर बाद उनकी गांड अच्छे खुल गई तो मैंने धीरे धीरे उनकी गांड मारना शुरू कर दिया. अब वे भी मजे से गांड मरवाने लगी थीं.


उन्हें भी बहुत मजा आ रहा था. उस दिन मैंने भाभी की गांड काफी देर तक मारी.


उनकी गांड मारने का अनुभव मेरा आज तक सबसे ज्यादा सेक्स का टाइम वाला अनुभव रहा था.


इतना मजा तो मुझे मेरी गर्लफ्रेंड की गांड मारने में भी नहीं आया था जितना भाभी की गांड मारने आया था.


दोस्तो, मैं क्या बताऊं कि भाभी की गांड कितनी मखमली थी … उनकी गांड चुदाई मुझे अब तक की सबसे अच्छी चुदाई लगी थी. इतना मजा तो मुझे उनकी चूत मारने भी नहीं आया था, जितना गांड मारकर आया था.


भाभी की चुदाई करने से एक फायदा और भी हुआ था कि मुझे अपनी गर्लफ्रेंड को चोदने के लिए जगह की दिक्कत खत्म हो गई थी. हालांकि गर्लफ्रेंड को इस बात के लिए सैट करने में थोड़ा ड्रामा करना पड़ा था कि मैं अपनी पड़ोस की भाभी को भी चोदता हूँ.


अब मुझे जब भी अपनी गर्ल फ्रेंड को चोदना होता है, तो मैं उसे भाभी के घर ले जाकर भाभी के सामने ही चोदता हूँ.


हम तीनों ने एक बार थ्रीसम भी किया था. सच में उस थ्रीसम सेक्स में बेहतरीन मजा आया था.


दोनों को एक साथ चोदने का अनुभव भी आपको सुनाना चाहता हूँ. पर आपके आदेश पर ही लिखूँगा.


अब तो सिर्फ मैं अपनी गर्ल फ्रेंड को ही चोद पाता हूं क्योंकि भाभी तो गर्भवती हैं. पेट से होने के कारण भाभी अब कभी कभी ही मेरा लंड अपनी गांड में ले लेती हैं और मुँह में लेकर चूस देती हैं.


पर अब न जाने क्यों मेरा मन नहीं करता है कि भाभी को चोदूं, तो अब मैं वहां जाता ही नहीं हूँ.


ये सेक्स कहानी अभी कुछ ही महीने पहले की है इसलिए ये तो नहीं बता पा रहा हूं कि भाभी के पेट में लड़का है या लड़की … पर वे मेरे लंड से प्रेगनेंट हैं, यह पक्का है.


आपको इंडियन भाभी पोर्न कहानी में मजा आया होगा, मेल करके बता सकते हैं. नमस्कार. [email protected]


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